Domestic Violence act false case quash by High court

                           बॉम्बे हाईकोर्ट
    पल्लवी राहुल सोनांकी बनाम कृति विजय सिंह



इस मामले में पति पक्ष के ऊपर लगे घरेलू हिंसा अधिनियम के मुकदमे को कुछ नया ले इस आधार पर रद्द कर देता है कि जो पत्नी है उसने जो आग उप लगाया है उसमें कब उसे प्रताड़ित किया गया इसका समय तारीख और विशेष घटना का जिक्र नहीं किया है ।


इस मामले में जो पत्नी है उसने घरेलू हिंसा से महिलाओं का संरक्षण अधिनियम 2005 के तहत मुकदमा दर्ज कराया है जिसे रद्द करने के लिए पति की भाभी और भाई उच्च न्यायालय में प्रार्थना पत्र लगाए हैं।


उच्च न्यायालय में उनके तरफ से तर्क रखा जाता है कि जो आवेदक हैं वह शिकायतकर्ता से अलग रहते हैं जो भी आरोप लगे हैं और अस्पष्ट और सर्व्यापी किस्म की आरोप लगे है, पत्नी ने कोई विशिष्ट घटना, तारीख या समय का जिक्र नहीं किया है कि कब उसे प्रताड़ित किया गया और इस कारण से इस मामले को रद्द किया जाए पूर्व में भी इस मामले में कुछ लोगों के ऊपर लगे मामले को रद्द किया जा चुका है ।

पत्नी की तरफ से प्रार्थना पत्र को खारिज करने की मांग की जाती है ।

जब कोर्ट पूरे मामले को देखा है तो उसमें यही पता है की पत्नी ने अपने साथ हुए हिंसा के संबंध में कोई विशेष घटना नहीं बताया है ना ही कोई तारीख या समय बताया है कि उसके साथ कब हिंसा की गई जो भी आरोप लगे हैं वह अस्पष्ट आरोप है और घरेलू हिंसा से महिलाओं का संरक्षण अधिनियम को स्थापित नहीं करते हैं इस कारण से इस मामले को रद्द किया जाता है ।

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