Calcutta High Court
Kuntal Panda vs State of West Bengal
इस मामले में उच्च न्यायालय ने धारा 498 ए आईपीसी के मुकदमे को इस आधार पर रद्द कर दिया कि पत्नी ने बेतुके और बिना साक्ष्य के केस दर्ज कराया था और कोई मारपीट के संबंध में मेडिकल रिपोर्ट नहीं लगाया था ।
इस मामले में पति और पत्नी दोनों इंजीनियर होते हैं , 2018 में शादी होती है , शादी के बाद पत्नी पति के साथ क्रुरर्ता और दुर्व्यवहार करने लगती है, धमकियां देने लगती है, ब्लैकमेल करने लगती है इस संबंध में पति शिकायत दर्ज करता है ।
पत्नी, पति के माता के साथ मार पिटाई करती है इस संबंध में भी शिकायत दर्ज करता है ।
पत्नी ब्लैकमेल करके कहती है कि अपना फ्लैट मेरे नाम कर दो नहीं तो झूठे केस में फंसा दूंगी इस संबंध में भी मुकदमा दर्ज करता है ।
उसके बाद पत्नी अपने मायके जाकर के फर्जी धारा 498ए आईपीसी का मुकदमा दर्ज कर देती है उसके बाद पति विवाह विच्छेद का मुकदमा दर्ज करता है और धारा 498A के मुकदमे को रद्द करने के लिए उच्च न्यायालय में जाता है ।
जहां वह तर्क रखता है कि मामला झूठा है बे बुनियाद है , पत्नी के पास कोई साक्ष्य या प्रमाण नहीं है, मारपीट के संबंध में कोई मेडिकल नहीं है, पत्नी को मानसिक बीमारी है और पत्नी मुकदमा दर्ज करने के पहले पति और उसकी मां से सामान्य बातें की है, कोई वाद विवाद भी नहीं था , सिर्फ फ्लैट को हड़पने के लिए उसने यह मुकदमा दर्ज कराया है ।
कोर्ट भी जब पूरे मामले को देखा है तो उसमें कोर्ट यही पता है की पत्नी बेतूके और सामान्य किस्म के आरोपी के आधार पर मामला दर्ज कराई है, उसके पास आरोपी के संबंध में कोई साक्ष्य नहीं है मारपीट के संबंध में भी कोई मेडिकल रिपोर्ट नहीं है और अन्य आधारों पर मामले को रद्द कर देता है ।
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